श्याम पिया पर

श्याम पिया पर बलि बलि जाऊँ
नज़र ना लागे काजर टीका लगाऊँ
श्याम पिया पर........

पिया मेरो सखी बड़ो ही सलोना
एक नज़रिया सों कर दियो टोना
अपनी ही अब सुधि ना पाऊँ
श्याम पिया पर........

आजा पिया तोहे अंग लगा लूँ
जग नाय देखे आँचल में छिपा लूँ
हिय ही पिया को घर मैं बनाऊँ
श्याम पिया पर........

पिया मोहे छाँड़ कितहुँ ना जइयो
नेह लगाय कर नहीं बिसरैयो
हर पल पिया तेरो संग ही पाऊँ
श्याम पिया पर........

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