कद आवेन्गा

कद मिलेंगा सोहनेया दस जा
उमर ना लंघ जाये उडीकां विच मेरी

कद दी खड़ी वाजां मारदी पयी
हाय पता नही कद उडीक मुकणी है मेरी

रौंदी कुरलवन्दी रूह पयी हुण
थक गयी मैं उडीक कर कर एनी
तेरी

अज आवेन्गा अज आवेन्गा
पता नही कद दी तरीक पयी हुण तेरी

किते मुकदी मुकदी मुक् ही ना जावाँ
इक वार आन के खबर ले वे मेरी

तेरे बिना किवें दस जिंदगी गुजारां
वांग कण्डेयन दे सुक्की जावे जिंद मेरी

आजा आजा हुण ता आजा
बीत गयी मेरी उमर उडीक विच बथेरी

हाय आजा जल्दी आजा
रूह रौंदी हाय कम्बदी है मेरी

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