है अजब तेरा इश्क़ ये
है अजब तेरा इश्क़ ही है अजब तेरी मोहबत
जिसने है पाया इश्क़ ये किस काम की है जन्नत
यही हसरत ए तलब मेरी कब हो दीदार तेरा
पर्दा हटे कब प्यारे मैं देखूं रुखसार तेरा
हर पल ही रहती है दिल में मेरे ये चाहत
है अजब तेरा इश्क़ ही है अजब तेरी मोहबत
जिसने है पाया इश्क़ ये किस काम की है जन्नत
तेरा नाम मैं ना भूलूँ दुनिया भुला दूँ सारी
कुछ ऐसी मुझको देना तेरे इश्क़ की खुमारी
तुम ही हो इश्क़ मेरा तेरी करूँ इबादत
है अजब तेरा इश्क़ ही है अजब तेरी मोहबत
जिसने है पाया इश्क़ ये किस काम की है जन्नत
मुझे तुमसे इश्क़ करना अब तो सिखा दो प्यारे
दिल में लगी है आग जो अब तो बुझा दो प्यारे
तुमसे ही दिल्लगी हो मोहन मेरी ये हसरत
है अजब तेरा इश्क़ ही है अजब तेरी मोहबत
जिसने है पाया इश्क़ ये किस काम की है जन्नत
किस काम की दुनिया है झूठे हैँ सारे नाते
तेरा ही इश्क़ सच्चा तुम ही सदा निभाते
मुझको कमानी प्यारे तेरे नाम की ही दौलत
है अजब तेरा इश्क़ ही है अजब तेरी मोहबत
जिसने है पाया इश्क़ ये किस काम की है जन्नत
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