हरिहौं देयो

हरिहौं देयो साँची पीर अपार
क्षणहुँ न बिसरै नाम तिहारा हरिहौं बहै निरन्तर धार
बहै निरन्तर धार नाम कौ निशिबासर कीजौ कोऊ उपाय
मूढ़ा बल बुद्धिहीना बाँवरी भजनहीना तेरौ सुभाय
कोऊ विधि लगावो हरिनाम चटपटी हिय उठै साँची पीरा
हरिभजन बिन बिरथा कीन्हीं बाँवरी अबहुँ मानुस सरीरा

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